गुरुजी मुझे सास लेने का अहसास नहीं हो रहा शरीर ही नहीं लगता है रात को झटके लगते है सिर पर हाथ फेरता तो डर लगता है पगलपन ना हो जाए मुझे क्या करना चाहिए
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गुरुजी मुझे सास लेने का अहसास नहीं हो रहा शरीर ही नहीं लगता है रात को झटके लगते है सिर पर हाथ फेरता तो डर लगता है पगलपन ना हो जाए मुझे क्या करना चाहिए?
आपकी स्थिति से यह प्रतीत होता है कि आपकी साधना में ऊर्जा (प्राण) असंतुलित हो गई है। यह ध्यान और आध्यात्मिक अभ्यास में गहराई के साथ कभी-कभी अनुभव हो सकता है, खासकर जब बिना उचित मार्गदर्शन के उन्नत साधनाएँ की जाएँ। आप चिंता न करें; इसे संतुलित और नियंत्रित किया जा सकता है। यहाँ कुछ सुझाव दिए जा रहे हैं जो आपकी स्थिति में मदद कर सकते हैं:
1. सांस पर ध्यान दें और उसे वापस अनुभव करें
धीमी, गहरी और आरामदायक श्वास:
दिन में 3-4 बार, 5-10 मिनट तक धीमी और गहरी सांस लें। इसे इस तरह करें:- नाक से सांस लें, पेट को बाहर फैलाएं।
- सांस छोड़ते समय पेट को धीरे-धीरे अंदर खींचें।
यह प्रक्रिया आपकी प्राण ऊर्जा को संतुलित करेगी।
यदि सांस लेने का अहसास कम हो रहा है, तो ध्यान को सीधे सांस पर केंद्रित करने के बजाय, इसे सहज रहने दें।
2. जमीन से जुड़ाव (ग्राउंडिंग) करें
जड़ चक्र पर ध्यान दें:
मूलाधार चक्र पर ध्यान केंद्रित करें। कल्पना करें कि आपकी ऊर्जा पृथ्वी की ओर जा रही है। "लम" बीज मंत्र का जाप करें।प्राकृतिक चीजों से संपर्क:
रोज़ नंगे पांव घास या मिट्टी पर चलें। यह ऊर्जा को संतुलित करने में मदद करता है।
3. सिर की ऊर्जा को नीचे खींचें
- सिर पर भारीपन या डर महसूस हो रहा है तो ध्यान दें कि यह ऊर्जा आपके पूरे शरीर में समान रूप से वितरित हो।
- सिर पर बार-बार हाथ न फेरें। अगर हाथ फेरना ज़रूरी लगे, तो हल्के से करें और अपने विचारों को शांत रखें।
4. साधना का स्वरूप बदलें
- कठिन ध्यान विधियों को थोड़े समय के लिए रोक दें।
- सिर्फ साधारण मंत्र जप, जैसे "ओम नमः शिवाय" करें।
- भजन, कीर्तन, या सरल ध्यान तकनीकों का अभ्यास करें।
5. रात के झटकों का समाधान
- यह संकेत है कि आपकी ऊर्जा चैनल (नाड़ियाँ) असंतुलित हैं। इसे ठीक करने के लिए:
- सोने से पहले गर्म दूध पिएं।
- बायीं करवट लेकर सोएं।
- सोने से पहले 10 मिनट तक गहरी सांस लें और दिमाग को शांत रखें।
6. भय को दूर करने के उपाय
- डर आपके दिमाग की प्रतिक्रिया है। इसे ध्यान में हल्के से स्वीकार करें और छोड़ने का अभ्यास करें।
- रात में सोने से पहले हनुमान चालीसा का पाठ करें या "ओम नमो भगवते वासुदेवाय" का जप करें।
8. गुरु या मार्गदर्शक की सहायता लें
- ध्यान और साधना में अनुभव रखने वाले किसी व्यक्ति से मार्गदर्शन प्राप्त करें। गुरु का मार्गदर्शन आपको सही दिशा में ले जाएगा और आपकी ऊर्जा को नियंत्रित करने में मदद करेगा।
9. अपने मन को शांत रखें
- बार-बार पागलपन की आशंका से बचें। ध्यान का उद्देश्य आपको भीतर से स्थिर और शांत बनाना है।
- यह याद रखें कि इन अनुभवों को सही तरीके से संभाला जा सकता है।
आपके लिए यह समय साधना को थोड़ा सरल करने और जीवनशैली को स्थिर बनाने का है। यदि कोई भी समस्या बनी रहती है, तो मैं आपकी सहायता के लिए यहाँ हूँ। ध्यान में आपका मार्गदर्शन और सुरक्षा सुनिश्चित हो।
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